[४] ।। श्री ।। ७ सप्टंबर १७५१
यादी नबाब सलाबतजंग याचे सरकारांत आज ता ।। निगादास्तशिवाय मनसबदार यवन व मराठे.
| फौज रिसाले नवनिगादास्त१७ व कदीमी१८ मिळोन. | ||||
| ६००० नि।। नसीरजंग बहाद्दर | २००० | रिसाला मीरशमशुद्दीनखान बक्षीसायेर | ||
| १५०० | रिसाला अल्ली आस्करखान | १५०० | रिसाला शेषाचार्य शिवाय बरकंदाज१९ १००० | |
| ५०० | रिसाला तुरशं मं. हंमदखान | २००० | रिसाला याकुब मीरखान पीसर तुरक तामानखान | |
| १००० | रिसाला अकबरबेग | १००० | रिसाला हकीम महमद अलीखान | |
| १५०० | रिसाला मानखान | |||
| १५०० | रिसाला खोजेशहा | १५०० | रिसाला फत्तेखान | |
| ६००० | १००० | रिसाला सफीउल्लाखान | ||
| ६००० नि।। अबदुल खैरखान | ५०० | रिसाला नजर म।। खान | ||
| १००० | शहरी मीरगवास खान आले त्याबरोबर | १००० | मराठे जगताप व साळोंकी व बाबर वगैरे जमातदार | |
| ५००० | ब-हाणपुरी आहेत | |||
| ६००० | १५०० | रिसाला मिरन पामाखान वगैरे ब-हाणपुरीयें | ||
| ४००० | खुदाबंदखान भागानगरीहून बोलाविले आहेत त्या ब।। | |||
| ५०० | खोजम कुलीखान | |||
| १६५०० | १२००० | |||
| २८५०० |
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| साडे अठ्ठावीस हजार याचा तपशील | ||||
| येणार ----------------------------------------------------------------- | येथें आहेत व चारणीस व तैनातीत गेले आहेत ऐसे | |||
| ५००० | अबदुलखैरखान | १९५०० | ||
| ४००० | खुदावंदखान | |||
| जिनसी तोफखाना वगैरे हमराही. | ||||
| कित्ता--------------------------------------------------- | कित्ता----------------------------- | |||
| ३२०० | जेजालंदाज बलांये२० जेजाला | १० | तोफा मोठाल्या फुलचारी कडे राहिल्या. | |
| १८०० | खासबारदार२१ | मध्यम प्रतीच्या समागमें आहेत. | ||
| २२००० | बारकंदाज, प्यादे, पूर्वीचे व कर्नाटकी | १५० | रेहकले. | |
| ५०० | बाणदार आसामी | १० | हतनाळा. | |
| ३००० | कामाठी व खारवे बंखाणी बेलदार सुतार वगैरे | २५ | सुतरनाळा | |
| ३१०४ | कित्ता जिन्नस | १५००० | बाण सुमार | |
| १०० उंट बाणास व सुर्बाबरूप वगैरेस | १४ | फिरंग्यांबरोबर सरंजाम. | ||
| ४ हत्ती तोफा लोटायाचे | ३ | तोफा कळेनें चालतात. | ||
| ३००० बैल तोफांचे | १ कि। | तोफ कळेनें सोडावयाची. | ||
| ५०० गुदस्तांपैकी तयार होते | १० | तोटे बंदुखाचे व तोफाचे संदुका ठेवावयास छकडे. | ||
| २५०० | नवखरीद. | १४ | ० सुर्बाबरूपचे छकडे व गोळ्याचे छकडे व उंटे | |
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३०० नासरजंग असता वराडांतून आणविले होते. ते येऊन हैदराबाद पावेतों गेले तों नासरजंगाचें वर्तमान आलें. |
येथून कूच होता समागमें काय घेतील पहावें. कित्ता सरंजाम. | |||
| त्यावरून राहिले. ते सेहलीस व चारणीस होते. हल्ली आणविलें. | ८० | हत्ती सुमार | ||
| वरकड भारबारदारी आणविली त्याबराबर तेहि येतील. | १२०० | उंटें भारबारदारी वगैरे सुमार. | ||
| ११०० | हरकारे | |||
| ३०० | कासीद | |||
| ३००० | ||||
| ३१०४ | ||||
येणेंप्रमाणें तूर्त बराबर घेणार. याखेरीज येथें किल्ले अर्कात२२ तोफा पांच सात आहेत व अमदानगर२३ पेडगांव२४ येथें साहित्य फार आहे. काम पडल्यास त्यापैकीं आणवितील.